गुरुवार, 13 जनवरी 2011
कश्मीर मसले पर नेहरू से ऐतिहासिक भूल हुई : शिवराज सिंह
कश्मीर मसले पर नेहरू से ऐतिहासिक भूल हुई : शिवराज सिंह
खजुराहो, 13 जनवरी 2011। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पूर्ण कश्मीर के भारत का अंग न बन पाने के लिए तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने कहा है कि नेहरू ने यह ऐतिहासिक भूल न की होती तो पूरा कश्मीर हमारा अभिन्न अंग होता।
भारतीय जनता युवा मोर्चा के कार्यकर्ताओं को सम्बोधित करते हुए गुरुवार को चौहान ने कहा कि देश की सभी रियासतों के भारत में विलय की जिम्मेदारी तो बल्लभ भाई पटेल पर थी, मगर कश्मीर के मसले को नेहरू ने अपने हाथ में ले लिया था। बाकी सभी हिस्से तो भारत के अंग बन गए मगर कश्मीर नहीं बन पाया। यह नेहरू की भूल के कारण हुआ।
उन्होंने आगे कहा कि भारत की सेनाओं ने दो तिहाई कश्मीर को तो मुक्त करा लिया था, और सिर्फ एक तिहाई हिस्सा बचा था, उस समय नेहरू दो दिन के लिए और रुक जाते तथा युद्ध विराम न होता तो सारा कश्मीर हिंदुस्तान का होता।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान यहीं नहीं रुके। उन्होंने तो यहां तक कह डाला कि आज जो कश्मीर हमारे पास है वह तो हमारा है ही, और अगर पाकिस्तान यह कहता है कि कश्मीर के बिना पाकिस्तान अधूरा है, तो हमारा कहना है कि पाकिस्तान के बिना हिंदुस्तान अधूरा है।
चौहान ने कश्मीर के मुख्यमंत्री और अरुंधति राय पर भी जमकर हमले किए। उन्होंने कहा कि कश्मीर के मुख्यमंत्री कहते है कि कश्मीर का भारत में विलय अंतिम नहीं हैं, वहीं अपने आपको बुद्धिजीवी बताने वाली अरुंधति राय जैसे लोग देश की एकता अखंडता और कश्मीर के भारत के अभिन्न अंग होने पर सवाल उठाते हैं। ऐसे लोग तो जेलों में डालने के लायक हैं।
चौहान ने भाजयुमो के कार्यकर्ताओं को कश्मीर के लाक चौक पर तिरंगा फहराने के लिए ध्वज सौंपते हुए कहा कि आओ हम संकल्प लें और कह दें कि भारत मां जहां तेरी कोख से चंद जयचंद और मीर जाफर जैसे लोग पैदा हुए है वहीं तेरी कोख से जन्म लेने वाले हम लाखों लाख लाडले हैं जो जरूरत पड़ी तो हर तरह की कर्बानी देने में पीछे नहीं रहेंगे।
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