सोमवार, 22 नवंबर 2010

गुरू नानक देव ने मानव धर्म का प्रसार किया


गुरू नानक देव ने मानव धर्म का प्रसार किया

संगत-पंगत ने फैलाई समानता की लहर, प्रतिवर्ष होगा मुख्यमंत्री निवास पर प्रगटोत्सव कार्यक्रम - मुख्यमंत्री श्री चौहान
Bhopal: Monday, November 22, 2010:

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मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान ने कहा है कि श्री गुरू नानक देव ने मानव धर्म का प्रसार किया है उन्होंने भेदभाव, अत्याचार और अनाचार का विरोध करते हुए दीन दुखियों की सेवा को ही धर्म बनाया। श्री चौहान ने यह बात आज मुख्यमंत्री निवास पर श्री गुरू नानक देव जी के 541वें प्रकाश पर्व के उपलक्ष्य में आयोजित गुरबाणी कीर्तन एवं मिलन समारोह में कही। उन्होंने मुख्यमंत्री निवास पर प्रतिवर्ष प्रगटोत्सव कार्यक्रम के आयोजन की घोषणा भी की। कार्यक्रम में विधानसभा अध्यक्ष श्री ईश्वर दास रोहाणी, सहकारिता मंत्री श्री गौरीशंकर बिसेन, कृषि मंत्री श्री रामकृष्ण कुसमरिया भी उपस्थित थे।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि श्री गुरू नानक देव ने विश्व को ज्ञान का नया प्रकाश दिया। श्री नानक देव के आगमन के समय समाज अनेक वर्गों में बंटा हुआ था। ऐसे युग में उन्होंने समानता और कर्म की महत्ता के ज्ञान का आलोक फैलाया। दुनिया को बताया कि व्यक्ति जन्म से नहीं कर्म से छोटा-बड़ा होता है।

श्री चौहान ने गुरूनानक देव के जीवन की घटनाओं का उल्लेख करते हुए कहा कि वे ईश्वर का अवतार थे जिन्होंने छूआ-छूत और अस्पृश्यता के युग में संगत और पंगत के माध्यम से कमजोरों, महिलाओं की समानता और सम्मान की नई लहर शुरू की।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि सिख समाज मेहनत कश समाज हैं। समाज ने अपने त्याग मेहनत और बलिदान से एक नये संसार की रचना की है।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कार्यक्रम में पधारे कवि डॉ. अमरीक सिंह, श्री फकीर चंद तुली, ज्ञानी दिलीप सिंह का सम्मान किया।

शिरोमणि गुरूद्वारा प्रबंधन कमेटी अमृतसर के अतिरिक्त सचिव डॉ. रूपसिंह ने श्री गुरू नानक देव के जीवन और विचारों पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि श्री गुरू नानक देव ने भेदभाव, आडम्बर और गुलामी का विरोध किया। उन्होंने गुलामी से देश को आजाद करने के लिये कठिन परिश्रम और सामाजिक समानता का संदेश प्रसारित किया।

कार्यक्रम के अंत में आभार प्रदर्शन वन मंत्री श्री सरताज सिंह ने किया। संचालन श्री जोगिन्दर सिंह धीर ने किया। कार्यक्रम में हजूरी रागी श्री दरबार साहिब अमृतसर से पधारे भाई हरमिन्दर सिंह, भाई परमिन्दर सिंह, भाई रणजीत सिंह ने गुरबाणी कीर्तन किया।

कार्यक्रम में उपस्थित मुख्यमंत्री की धर्मपत्नी श्रीमती साधना सिंह चौहान का स्वागत सुश्री मंजीत कौर ने किया। कार्यक्रम में विभिन्न धर्मों के धर्म गुरू, बड़ी संख्या में विधायक एवं सिख समाज के स्त्री-पुरूष उपस्थित थे।





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